सीसीटीवी और एलईडी लाइट्स से लैस स्वर्ण डिब्बे
भारतीय रेलवे ने स्वर्ण कोच की शुरुआत के साथ राजधानी एक्सप्रेस को एक नये रंग-रूप में पटरी पर उतार दिया है. यात्रियों के सफर को शानदार और यादगार बनाने के लिए भारतीय रेलवे ने सीसीटीवी कैमरे, शौचालयों में स्वचालित (ऑटो जैनिटर) स्वच्छता प्रणाली और एलईडी प्रकाश-व्यवस्था जैसी सुविधाओं से लैस राजधानी एक्सप्रेस को एक नया रंग देने का काम किया है. रेलवे अधिकारी के मुताबिक, भारतीय रेलवे ने अपग्रेडेड वर्जन वाले डिब्बे को फिलहाल सियालदह-नई दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस में लगाये हैं. स्वर्ण डिब्बे बनाने में 35 लाख रुपये की लागत आई है.
बताया जा रहा है कि यह सभी ट्रेनों में पुराने और क्षतिग्रस्त डिब्बों का जीर्णोद्धार करने के रेलवे के प्रयास का हिस्सा है. इसकी शुरुआत प्रीमियम ट्रेनों से की गई है. इन डिब्बों में सौंदर्यपरक अंतरराष्ट्रीय रंग योजना के अनुसार, अंदरूनी हिस्सों की पूर्ण पेंटिंग, एलईडी लाइटिंग, शौचालयों में स्वचालित स्वच्छता प्रणाली, उत्तम कूड़ेदान आदि सुविधाएं हैं.
रेल मंत्रालय ने ट्वीट कर इसकी जानकारी दी है. मंत्रालय ने ट्वीट में लिखा है- रेल मंत्रालय ने आज पहला स्वर्ण राजधानी (ट्रेन नं 12314 नई दिल्ली-सियालदह राजधानी) की शुरुआत की. राजधानी ट्रेनों में यात्रियों के अनुभव में सुधार के लिए 14 राजधानी ट्रेन और 15 शताब्दी ट्रेनों को इस स्वर्ण योजना के तहत अपग्रेड किया जाएगा.
नया लूक : आंखों को सुकून पहुंचाने के लिए डिब्बे के अंदरूनी हिस्सों की पूर्ण पेंटिंग की गई है.
बेहतर शौचालय की व्यवस्था : शौचालयों में स्वचालित (ऑटो जैनिटर) स्वच्छता प्रणाली का उपयोग किया गया है. इससे ट्रेनों में स्वच्छता को बढ़ावा मिलेगा. शौचालय के दरवाजों में विनाइल रैपिंग है और शौचालयों के अंदर इपिनी कोटिंग की गई है.
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एलईडी लाइट्स : बेहतर रोशनी के लिए एलईडी लाइट्स लगाए गये हैं. इतना ही नहीं, मिरर के ऊपर भी लाइट्स को लगाए गये हैं.
सीसीटीवी कैमरे : ट्रेनों में सुरक्षा के लिहाज से और मॉनिटिरिंग के लिहाज से सीसीटीवी कैमरे लगाए गये हैं. खासकर ये डोरवेज इलाके में स्थापित किये गये हैं.
नाइट साइनेज : रात के अंधेरे में अपने बर्थ को आसानी से पहचानने के लिए स्पेशल नाइट साइन लगाए गये हैं.