सीआरएमएस द्वारा आयोजित की गई एस एंड टी जोनल सेफ्टी सेमिनार

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22 जून को सीएसटी ऑडीटोरियम में सेंट्रल रेलवे मजदूर संघ ने सिग्नल एंड टेलीक्म्यूनिकेशन (एस एंड टी) स्टाफ की जोनल सेफ्टी सेमीनार का आयोजन किया। संघ के अध्यक्ष डॉ. आर.पी. भटनागर की अध्यक्षता में आयोजित इस सेमीनार का उदï्घाटन अखिल अग्रवाल, डायरेक्टर जनरल, एस एंड टी, रेलवे बोर्ड ने किया। मुख्य अतिथियों के रूप में एनएफआईआर के महामंत्री डॉ. एम. राघवैय्या तथा मध्य रेलवे के महाप्रबंधक डी.के. शर्मा उपस्थित थे। विशिष्ट अतिथियों में जे.जी. महूरकर, उपाध्यक्ष एनएफआईआर तथा अपर महाप्रबंधक मध्य रेल विशाल अग्रवाल प्रमुख थे। इनके अतिरिक्त सीएसटीई, सीईई, सीएसओ, सीपीओ, एसडीजीएम व मुख्यालय के अन्य अधिकारीगण वहां उपस्थित थे। डीआरएम मुंबई मंडल रवींद्र गोयल के साथ मंडल के अन्य अधिकारी भी इस अवसर पर मौजूद थे। पूरा ऑडीटोरियम एस एंड टी विभाग के कर्मचारियों से खचाखच भरा हुआ था। शुभारंभ में संघ के संस्थापक अध्यक्ष स्व. एस.एम. शुक्ला की फोटो पर गणमान्य अतिथियों द्वारा माल्यार्पण एवं परंपरागत दीप प्रज्जवलित किया गया। प्रवीण बाजपेयी, महामंत्री सीआरएमएस ने मंच संचालन किया। स्वागत समारोह के उपरांत डॉ. आर.पी. भटनागर ने सभी का स्वागत करते हुए कहा कि रेलवे की कार्यप्रणाली में एस एंड टी स्टाफ की अतिमहत्वपूर्ण भूमिका है। उन्होंने कहा कि एस एंड टी विभाग में नित नई आधुनिक तकनीक अपनाने और नए सेक्शनों के निर्माण के चलते स्टाफ पर कार्य का बोझ बढ़ता जा रहा है परंतु यार्डस्टिक के अनुसार मनुष्य बल उपलब्ध नहीं कराया जाता। स्टाफ को 24 घंटे कार्यरत रहना पड़ता है। परंतु उन्हें मूलभूत सुविधाओं से वंचित रखा जाता है। तदोपरांत एस एंड टी विभाग की कार्यप्रणाली पर मुख्य अतिथियों द्वारा एक स्मारिका का विमोचन किया गया। इस स्मारिका को मूर्तरूप देने में सुनील बेंडाले, सहायक महामंत्री एवं सुमन कुमार का विशेष योगदान रहा। डायरेक्टर जनरल एस एंड टी अखिल अग्रवाल ने इस अवसर पर अपने संबोधन में एनएफआईआर/सीआरएमएस को इस सेमीनार के सफल आयोजन के लिए मुबारकबाद देते हुए कहा कि सुरक्षा एवं एस एंड टी दोनों एक दूसरे के पूरक हैं। उन्होंने कहा कि लोको पायलट सिग्नल देखकर ही ट्रेन चलाता है। रेलगाडिय़ों को द्रुतगामी बनाने एवं अबाधित परिचालन में एस एंड टी विभाग की अतिमहत्वपूर्ण भूमिका है। उन्होंने एस एंड टी विभाग के आधुनिकीकरण एवं समस्यायों पर भी विस्तृत प्रकाश डाला। उन्होंने आवश्वासन दिया कि रेलवे बोर्ड इस विभाग की प्रत्येक समस्या को दूर करने के लिए प्रतिबद्ध है। महाप्रबंधक मध्य रेलवे डी.के. शर्मा ने अपने उदï्बोधन में कहा कि भारतीय रेलवे की अपनी एक अलग पहचान है। संरक्षा एवं आधुनिक तकनीक अपनाने के मामले में मध्य रेलवे अग्रणी है। उन्होंने  एस एंड टी स्टाफ की सराहना करते हुए कहा कि मुंबई जैसे अति व्यस्त एवं जटिल सेक्शनों में भी वे अपनी जिम्मेदारी बखूबी निभा रहे हैं।
एनएफआईआर के महामंत्री डॉ. एम. राघवैय्या ने इस अवसर पर अपने धारा प्रवाह संबोधन में बताया कि एनएफआईआर संपूर्ण भारतीय रेलवे में सन 2009 से अब तक साठ सेफ्टी सेमीनार आयोजित कर चुका है जिनके उत्साहजनक फलित मिले हैं। उन्होंने कहा कि सिस्टम में सुधार, त्रुटियों को दूर करने, कार्यक्षमता बढ़ाने एवं कार्यदशा सुधारने में इन सेमीनार से मदद मिलती है। उन्होंने एस एंड टी विभाग की समस्याओं पर प्रकाश डालते हुए कहा कि एनएफआईआर उन्हें दूर करने के लिए कोई भी कसर बाकी नहीं छोडेगा। ड्यूटी रोस्टर के बारे में एनएफआईआर के प्रयासों से ही आदेश जारी किया गया है। उन्होंने जोर देकर कहा कि सुरक्षित रेल परिचालन के साथ स्टाफ की सुरक्षा भी जरूरी है।
अपर महाप्रबंधक मध्य रेल विशाल अग्रवाल ने अपने संबोधन में सेमीनार के आयोजकों को धन्यवाद देते हुए, सावधानी, शार्ट कर, प्रीवेंटिव मेंटेनेंस, अन्य विभागों के साथ सामंजस्य जैसे मुद्दों पर अपने विचार एवं सुझाव दिए। डब्ल्यूआरएमएस के महामंत्री जे.जी. महूकर ने सीआरएमएस का धन्यवाद अदा करते हुए कहा कि यदि कार्यदशा अनुकूल नहीं हो तो कार्यक्षमता पर प्रतिकूल प्रभाव पडऩा स्वाभाविक है। उन्होंने एस एंड टी स्टाफ की समस्याओं पर बोलते हुए कहा कि उन्हें 24 घंटे सीमा पर तैनात एक सैनिक की तरह तैयार रहना पड़ता है उन्होंने बिना मैचिंग सरेंडर के स्टाफ मुहैया कराने पर जोर दिया। सीएसटीई राजेंद्र जैन, सीएसओ शुभ्रांशु एवं सीपीओ मध्य रेलवे ने भी सेमीनार को संबोधित किया एवं सीआरएमएस को इस तरह की उद्देश्यपूर्ण कार्यक्रम आयोजित करने के लिए सराहना की। स्थानीय टी.वी. चैनल द्वारा अखिल अग्रवाल, डॉ. राघवैय्या एवं डॉ. भटनागर का साक्षात्कार भी लिया गया। भोजनावकाश के बाद द्वितीय सत्र में आर.विश्वनाथ, सुनील बेंडाले, प्रमोद भादुलकर, सुमन कुमार, जी.एम. शर्मा, नवीन कुमार, वसंत पाटिल, राज कुमार, सरफराज, विनोद राय, आसिफ खान, सुनील अनबले, कांबले व अभय कुमार ने एस एंड टी स्टाफ की समस्याओं एवं सुधारों को प्रतिपादित करते हुए पेपर्स पेश किए। सीएसटी प्लानिंग पी.के. वर्मा ने सभी वक्ताओं को ध्यान से सुनने के उपरांत उनका विश्लेषण किया एवं उन पर अमल करने का आश्वासन दिया।
डॉ. एम. राघवैय्या ने अंत में सभी रखे गए पेपर्स का ध्यानपूर्वक विश्लेषण करने के बाद श्रोताओं को संबोधित करते हुए कहा कि यह अत्यंत खुशी की बात है कि सेमीनार का उद्देश्य पूरा हुआ है और सभी वक्ताओं ने अपने-अपने मन की बात कह दी। उन्होंने उठाए गए मुद्दों पर विस्तार से विश्लेषण किया एवं यह आश्वासन दिया कि सेमीनार में उठाई गई सभी समस्याओं को उच्चतम स्तर तक पहुंचाया जाएगा एवं उन्हें हल करने हेतु एनएफआईआर कोई भी कसर बाकी नहीं छोड़ेगा। इन मुद्दों में कार्य घंटे, ट्रेनिंग की बेहतर सुविधाएं, टी.ए., ओ.टी., कार्य दशा में सुधार एवं प्रमोशन एवं प्रोत्साहन जैसे मुद्दे प्रमुख थे। सभी ने जोरदार नारे लगाकर अपनी खुशी का इजहार किया।
इस सेमीनार को सफल बनाने में सुनील बेंडाले, आर.विश्वनाथ, बाला कांदलकर, सुमन कुमार, राजकुमार, आसिफ खान, जी.एम. शर्मा, आर.के. मिश्रा, एन.एम. अंसारी, उदय विभांडिक, अनिल कुमार, राजू कांबले, नितिन चौधरी, दशरथ शैलार, एस.के. सिंह, राजेंद्र कुमार, बाबू सिंह, राजेश दोंडे, बी.के.एम. पाल, नाजिद, श्याम यादव, बी.पी. धात्रक, अनिल जगताप व अन्य एस एंड टी एवं सीआरएमएस कार्यकर्ताओं ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। सेमीनार बहुत ही प्रभावकारी एवं उद्देश्यपूर्ण साबित हुई।

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